दुनियाभर में तबाही मचाने में सक्षम रूस के पांचवीं पीढ़ी के फाइटर जेट सुखोई-57 के हथियारों के जखीरे में 4 'ब्रह्मास्त्र' शामिल हो गए हैं। ये ब्रह्मास्त्र इतने खतरनाक हैं कि सुखोई के पायलट के इशारे मात्र पर दुश्मन को मटियामेट करके सुरक्षित वापस आ सकते हैं। जी हां, रूस का सुखोई-57 फाइटर जेट अपने साथ 4 ओखोतनिक ड्रोन विमान ले जाने में सक्षम हो गया है जो भीषण हमले करने के लिए बनाए गए हैं। रूसी समाचार एजेंसी तास के मुताबिक सुखोई को बनाने वाले सूत्रों ने बताया कि अटैक ड्रोन विमान को फाइटर जेट से संचालित करने की योजना पर काम चल रहा है। उन्होंने कहा कि यह फाइटर जेट 2 से लेकर 4 ओखोतनिक ड्रोन विमान ले जाने में सक्षम है। रूस के इस ताजा ऐलान से अमेरिका और नाटो देशों की टेंशन काफी बढ़ गई है। आइए जानते हैं कि फाइटर जेट से कैसे छोड़े जाएंगे हमलावर ड्रोन विमान....Su-57 Okhotnik Attack Drones: रूस के सबसे घातक लड़ाकू विमान Su-57 को तबाही मचाने वाले 4 घातक हमलावर ड्रोन विमान मिलने जा रहे हैं। ये ड्रोन विमान सुखोई के 'पेट' में मौजूद रहेंगे और पायलट के मात्र एक इशारे पर दुश्मन का संहार कर देंगे।

दुनियाभर में तबाही मचाने में सक्षम रूस के पांचवीं पीढ़ी के फाइटर जेट सुखोई-57 के हथियारों के जखीरे में 4 'ब्रह्मास्त्र' शामिल हो गए हैं। ये ब्रह्मास्त्र इतने खतरनाक हैं कि सुखोई के पायलट के इशारे मात्र पर दुश्मन को मटियामेट करके सुरक्षित वापस आ सकते हैं। जी हां, रूस का सुखोई-57 फाइटर जेट अपने साथ 4 ओखोतनिक ड्रोन विमान ले जाने में सक्षम हो गया है जो भीषण हमले करने के लिए बनाए गए हैं। रूसी समाचार एजेंसी तास के मुताबिक सुखोई को बनाने वाले सूत्रों ने बताया कि अटैक ड्रोन विमान को फाइटर जेट से संचालित करने की योजना पर काम चल रहा है। उन्होंने कहा कि यह फाइटर जेट 2 से लेकर 4 ओखोतनिक ड्रोन विमान ले जाने में सक्षम है। रूस के इस ताजा ऐलान से अमेरिका और नाटो देशों की टेंशन काफी बढ़ गई है। आइए जानते हैं कि फाइटर जेट से कैसे छोड़े जाएंगे हमलावर ड्रोन विमान....
एक-दूसरे से जुड़े रहेंगे सुखोई-57 और ओखोतनिक ड्रोन

रूसी मीडिया के मुताबिक ओखोतनिक हैवी अटैक ड्रोन और सुखोई-57 फाइटर जेट एक-दूसरे से जुड़े रहेंगे। ये ड्रोन विमान सुखोई पायलट के इशारे मात्र पर हवाई और जमीनी लक्ष्यों को निशाना बनाएंगे। S-70 ओखोतनिक हमलावर ड्रोन विमान का निर्माण एसयू-57 को बनाने वाले सुखोई डिजाइन ब्यूरो ने किया है। यह ड्रोन विमान स्टील्थ तकनीक से लैस है और इसमें पूछ नहीं है। इसकी वजह से यह दुश्मन के रेडॉर की पकड़ में नहीं आता है। बताया जा रहा है कि यह ड्रोन विमान 20 टन वजनी है और 1000 किलोमीटर प्रतिघंटा की रफ्तार से उड़ान भर सकता है। ओखोतनिक ड्रोन ने 3 अगस्त 2019 को पहली बार उड़ान भरी थी। करीब 20 मिनट तक यह ड्रोन विमान ऑपरेटर के नियंत्रण में रहा। इसके बाद 27 सितंबर 2019 को ओखोतनिक ड्रोन ने सुखोई-57 के साथ मिलकर उड़ान भरी। ड्रोन ने करीब 1600 मीटर की ऊंचाई पर ऑटोमेटिक मोड पर हवा में कलाबाजी दिखाई। यह पूरी उड़ान करीब 30 मिनट तक चली। तास के मुताबिक वर्ष 2024 से रूसी सैनिकों को ये घातक ड्रोन विमान मिलने लगेंगे।
आकाश में सीधे उड़ान भर सकता है सुखोई-57 जेट

रूसी फाइटर जेट सुखोई-57 अपने दमदार इंजन के बल पर उड़ान भरने के ठीक बाद सीधे आकाश की ओर जाने में सक्षम है। इस फाइटर जेट का कई जटिल परिस्थितियों में परीक्षण किया गया है। रूसी रक्षा मंत्रालय के मुताबिक एसयू-57 फाइटर जेट निचली उड़ान भरना हो या डॉग फाइट, हरेक युद्ध कौशल में माहिर है। इस फाइटर जेट को और ज्यादा दमदार बनाने के लिए जल्द ही इसमें नया पावरफुल इंजन लगाया जाने वाला है। 29 जनवरी, 2010 को Su-57E ने पहली बार उड़ान भरी थी। अभी कुल 10 विमान उड़ान भर रहे हैं। हालांकि अब स्टील्थ लड़ाकू विमान सुखोई Su-57 का मास प्रोडक्शन शुरू हो गया है। जल्द ही इसे रूसी एयरफोर्स में भी शामिल कर लिया जाएगा। कुछ साल बाद इसे अंतरराष्ट्रीय हथियारों के बाजार में भी उतारा जाएगा। तुर्की समेत कई देशों ने इसे खरीदने की भी इच्छा जताई है। एक एयर शो के दौरान रूसी राष्ट्रपति पुतिन के साथ मौजूद तुर्की के राष्ट्रपति रेचेप तईप एर्दोआन ने सुखोई-57E को देखते ही उसके मुरीद हो गए और उन्होंने खरीदने का प्रस्ताव दे डाला। एर्दोगान ने पुतिन से कहा, 'क्या यह विमान बिक्री के लिए उपलब्ध है?' इस पर पुतिन ने कहा, 'हां, आप इसे खरीद सकते हैं।'
सीरिया में मचा चुका है तबाही, अमेरिकी F-35 भी पीछे

खबरों के मुताबिक वर्ष 2018 में रूस ने युद्ध प्रभावित सीरिया में Su-57E विमान के सभी हथियारों और बचाव प्रणालियों का परीक्षण किया था। बताया जा रहा है कि सीरिया में सफल रहने के बाद इसे रूसी एयरफोर्स में शामिल करने की अनुमति दी गई है। Su-57E को रूसी कंपनी सुखोई ने बनाया है। पांचवीं पीढ़ी का यह स्टील्थ विमान दुश्मन के एयर डिफेंस सिस्टम को ध्वस्त कर सकता है। अमेरिकी मीडिया ने रूस के सुखोई Su-57 विमान को अपने क्लास में सर्वश्रेष्ठ एयर सुपिरियरिटी वाला लड़ाकू विमान करार दिया है। कहा गया है कि किसी भी अन्य विमानों के मुकाबले डॉगफाइट के दौरान इस लड़ाकू विमान को बढ़त मिलेगी। यह भविष्य में नाटो देशों का मुख्य लड़ाकू विमान बनने वाले अमेरिका के पांचवीं पीढ़ी के लड़ाकू विमान F-35 को भी हरा सकता है। रूस का Su-57 लड़ाकू विमान खर्च के मामले में भी लॉकहीड मॉर्टिन के F-35 से सस्ता है। इसकी डिजाइन और एवियोनिक्स भी ज्यादा एरोडॉयनामिक्स हैं। यह ऑफ्टरबर्नर का उपयोग किए बिना ही 2 मैक (लगभग 2500 किमी प्रति घंटे) की स्पीड पकड़ सकता है। यहां तक कि इसकी सबसोनिक रेंज 3500 किलोमीटर से भी अधिक है।
सुखोई Su-57 लड़ाकू विमान से अमेरिका में भी दहशत

रूसी फाइटर जेट सुखोई Su-57 कई तरह के घातक हथियारों से लैस है। इसे कई तरह के हथियारों की पूरी श्रृंखला को लेकर उड़ने के लिए डिजाइन किया गया है। इसमें शॉर्ट रेंज की एयर टू एयर मिसाइलों से लेकर 150 किलोमीटर तक जमीन पर हमला करने वाली एयर टू ग्राउंड अटैक मिसाइले भी शामिल हैं। यह रूसी जेट विम्पेल आर -37 एम हाइपरसोनिक मिसाइल के अलावा परमाणु हमला करने में सक्षम Kh-47M2 Kinzhal मिसाइल से भी हमला करने में सक्षम है। यही वजह है कि एसयू-57 को लेकर अमेरिका में भी दहशत का माहौल है। खासतौर पर तब जब यह विमान अमेरिका के सबसे आधुनिक विमान F-35 को भी मात दे सकता है। कई अमेरिकी रिपोर्ट में दावा किया गया है कि रूस के इस अत्याधुनिक लड़ाकू विमान से अमेरिका के ही नहीं, बल्कि नाटो के भी कई सैन्य ठिकानों को खतरा हो सकता है। इसमें लगा एईएसए रडार और अन्य प्रणालियां पायलट को जरूरी जानकारी और सहायता उपलब्ध कराती हैं। यह विमान F-35 की अपेक्षा ज्यादा स्टील्थ तकनीकी से लैस है। इस कारण यह अपने लक्ष्य को चुपके से खोजकर उसे नष्ट कर सकता है।
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