पेइचिंग भारत से जुड़ी वास्तविक नियंत्रण रेखा पर चीन अपने सीमित एयरक्राफ्ट ऑपरेशन्स की मजबूरी की भरपाई करने में जुट गया है। सूत्रों के मुताबिक पूर्वी लद्दाख क्षेत्र के शाकचे के पास शिनजियांग प्रांत में चीन लड़ाकू विमानों के ऑपरेशन्स के लिए एयरबेस तैयार कर रहा है। न्यूज एजेंसी ANI ने सरकारी सूत्रों के हवाले से बताया है कि यह बेस काशगर और होगन के मौजूद बेस के बीच बन रहा है। इन दोनों जगहों पर पहले से ऑपरेशन्स चल रहे हैं। नए बेस की मदद से बीच के गैप को खत्म करने की चीनी एयरफोर्स की कोशिश है। अभी दोनों के बीच 400 किमी की दूरी है। शाकचे में एक एयरबेस है और उसे लड़ाकू एयरक्राफ्ट ऑपरेशन्स के लिए अपग्रेड किया जा रहा है। सूत्रों का कहना है कि यह बेस जल्द ही तैयार हो जाएगा और यहां काम तेज किया गया है। वहीं उत्तराखंड सीमा पर बाराहोटी से लगी चीन की सीमा पर भी भारतीय एजेंसियों की नजरें टिकी हैं। यहां चीन कई मानवरहित एरियल वीइकल लाया है। ये क्षेत्र में उड़ानें भर रहे हैं। हाल ही में चीनी एयरफोर्स ने अभ्यास भी किया था जिस पर भारत ने निगाह भी रखी थी और हर तरह के ऐक्शन के लिए तैयार भी था। कुछ हफ्त पहले वॉल स्ट्रीट जर्नल की रिपोर्ट में दावा किया गया था कि चीन ने गलवान हिंसा के दौरान तैनात सैनिकों की संख्या से 15 हजार ज्यादा जवानों को इस बार तैनात किया हुआ है। भारतीय खुफिया और सैन्य अधिकारियों के अनुसार, चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी ने पिछले कुछ महीनों में धीरे-धीरे अपनी सेना की उपस्थिति को बढ़ाकर 50 हजार से ज्यादा कर दिया है।
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