वॉशिंगटन अमेरिका के नर्सिंग होम और अस्पतालों में कोरोना वायरस के बाद अब खतरनाक फैलने लगा है। स्वास्थ्य अधिकारियों के मुताबिक पहली बार इतना घातक फंगल इन्फेक्शन फैल रहा है जिसके खिलाफ मौजूदा इलाज बेअसर साबित हो रहे हैं। डेलीस्टार की रिपोर्ट के मुताबिक 2009 में एशिया में पहली बार पाए गई ईस्ट इन्फेक्शन Candida auris के केस वॉशिंगटन डीसी के केयर होम और टेक्सस के दो अस्पतालों में पाए गए हैं। इनमें से कई ऐसे मामले हैं जिन पर तीन बड़े इलाज का असर नहीं हो रहा है। सेंटर्स फॉर डिजीज कंट्रोल ऐंड प्रिवेन्शन CDC की मेडिकल ऑफिसर मेगन लिमन के मुताबिक पहली बार कई मरीजों पर इलाज बेअसर दिख रहा है जहां एक-दूसरे से इन्फेक्शन मिला हो। Candida auris ईस्ट का खतरनाक रूप होता है। यह अस्पताल और नर्सिंग होम जैसी गंभीर बीमारियों वाली जगह पर बेहद घातक माना जाता है। यह खून, दिमाग या दिल में पहुंचने पर जानलेवा भी साबित हो सकता है। Candida auris के केस गंभीर रूप से बीमार केयर होम मरीजों में वॉशिंगटन डीसी में पाए गए जिनमें से तीन पर दवाओं का असर नहीं हो रहा। वहीं, 22 केस टेक्सस के डैलस में मिले जिनमें से दो पर दवाएं बेअसर हैं। पांच में से तीन लोगों की मौत हो गई जिन पर दवाओं का असर नहीं था। 30 करोड़ से ज्यादा लोग शिकार दुनियाभर में हर साल 30 करोड़ से ज्यादा लोगों को फंगस से जुड़ी बीमारियां होती हैं और करीब 2.5 करोड़ लोगों को आंखों की रोशनी या जान जाने का खतरा रहता है। ग्लोबल ऐक्शन फंड फॉर फंगल इन्फेक्शन के आकलन के मुताबिक यह मलेरिया या टीबी से होने वाली मौतों से ज्यादा है। साल 2020 के अंत तक अमेरिका में 1,500 मामले थे। कोरोना के चलते दोनों के मिलकर ज्यादा नुकसान पहुंचाने की आशंका भी थी।
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