वॉशिंगटन नासा के हबल टेलिस्कोप ने एक नई तस्वीर खीची है। इस तस्वीर से यह अनुमान लगाया जा सकता है कि भविष्य में 'सूर्य' की मृत्यु कैसे होगी। सूर्य हाइड्रोजन और हीलियम गैसों की एक औसत आकार की गर्म गेंद है, जो 4.5 अरब साल पहले बनी थी। सूर्य अपने जीवनकाल की लगभग आधी दूरी तय चुका है। इसका व्यास लगभग 864,000 मील (1.4 मिलियन किमी) है। इसकी सतह का तापमान लगभग 10,000 डिग्री फारेनहाइट यानी 5,500 डिग्री सेल्सियस है। एनजीसी 2438 प्लैनेटरी नेब्युला सूर्य जैसा एक तारा है। यह पृथ्वी से लगभग 1,370 प्रकाश वर्ष दूर स्थित है। प्लैनेटरी नेब्युला बड़े पैमाने पर गैस के बादल हैं जो सूर्य जैसे मरने वाले सितारों से निकलते हैं। रिपोर्ट्स के मुताबिक अपने जीवनकाल के अंत के दौरान सूर्य का हाइड्रोजन खत्म हो जाएगा। यह सूर्य को अस्थिर कर देगा और एक सफेद छोटे गोले के रूप में यह खत्म हो जाएगा। तस्वीर में नजर आए कई रंगसनस्पॉट और अन्य घटनाओं के कारण चमक के मामले में सूर्य अन्य तारों क तुलना में बहुत कम सक्रिय प्रतीत होता है। हबल की फोटो में नीला रंग ऑक्सीजन को दिखाता है, हरा हाइड्रोजन, नारंगी नाइट्रोजन और लाल सल्फर को दिखाता है। हबल ने यह तस्वीर वाइड फील्ड और प्लैनेटरी कैमरा 2 से खींची थी। नासा के हबल स्पेस टेलिस्कोप को वर्ष 1990 में पृथ्वी की निचली कक्षा में लॉन्च किया गया था। बूढ़ा होता जा रहा है हबल टेलिस्कोपअक्सर हबल स्पेस की अद्भुत तस्वीरें खींचता रहता है, जो नासा के ऑफिशियल इंस्टाग्राम हैंडल पर देखी जा सकती हैं। हालांकि हबल में बीते दिनों में कई बार खराबी आ चुकी है। वर्ष 1990 में लॉन्च किया गया हबल टेलिस्कोप अब धीरे-धीरे बूढ़ा होता जा रहा है। कई बार इसकी मरम्मत की गई है, फिर भी इसमें दिक्कतें आने लगी हैं। नासा अब हबल की जगह पर 10 अरब डॉलर का जेम्स वेब टेलिस्कोप लॉन्च करने जा रही है।
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