काबुल अमेरिका और मध्य एशिया के 5 देशों ने प्रण किया कि है कि वे तालिबान को हिंसा के बल पर अफगानिस्तान पर कब्जा नहीं करने देंगे। अमेरिका और मध्य एशिया के 5 देशों ताजिकिस्तान, कजाखस्तान, किर्गिस्तान, तुर्कमेनिस्तान और उज्बेकिस्तान ने कहा है कि ताकत के बल पर आने वाली किसी भी नई अफगान सरकार को क्षेत्र से कोई समर्थन नहीं मिलेगा। इन सभी देशों ने एक संयुक्त बयान जारी करके तालिबान को यह खुली चेतावनी दी है जो लगातार हिंसक हमले करके अफगानिस्तान के बहुत बड़े हिस्से पर अपना कब्जा कर चुका है। सभी 6 देशों ने कहा कि आतंकवादी और तीसरे पक्ष की ताकतों को निश्चित रूप से अफगान जमीन का इस्तेमाल हमको या दुनिया के किसी अन्य देशों को धमकी देने के लिए नहीं करने देना चाहिए। युद्ध की वजह से एशियाई देशों का आर्थिक विकास बाधित इस गठबंधन को 5+1 नाम दिया गया है और उन्होंने प्रण किया है कि अफगानिस्तान के संघर्ष को खत्म करने के लिए वे मिलकर काम करेंगे। उन्होंने कहा कि युद्ध की वजह से दक्षिण और मध्य एशियाई देशों का आर्थिक विकास बाधित हो गया है। यह बयान ताशकंद में हुए अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन के बाद आया है। इस पर साइन करने वाले देशों ने कहा कि वे अफगान शांति प्रक्रिया के लिए स्थायी और समृद्ध स्थितियां बनाने पर सहमत हो गए हैं। इन सभी देशों का मुख्य जोर पूरे मुद्दे के राजनीतिक समाधान पर है। इससे पहले शुक्रवार को अमेरिका, अफगानिस्तान, पाकिस्तान और उज्बेकिस्तान की ओर से जारी संयुक्त बयान में क्षेत्रीय संपर्क को बढ़ाने के लिए एक नए बहुपक्षीय राजनयिक प्लेटफार्म को बनाने पर सहमति बनी थी। 5+1 देशों के गठबंधन ने अफगानिस्तान में सुरक्षा, ऊर्जा, आर्थिक, व्यापार, संस्कृति और अन्य प्रयासों पर सहयोग करने का फैसला किया।
from World News in Hindi, दुनिया न्यूज़, International News Headlines in Hindi, दुनिया समाचार, दुनिया खबरें, विश्व समाचार | Navbharat Times https://ift.tt/3xNXhhH
via IFTTT
No comments:
Post a Comment